नए साल पर निबंध | New Year Essay

Essay on New Year

1 जनवरी के दिन को पूरे विश्व में नए साल के रुप में धूमधाम के साथ मनाया जाता है। इस दिन को लेकर बड़े, बुजुर्ग, बच्चे, युवाओं और महिलाओं में काफी उत्साह रहता है। वहीं इस मौके पर कई तरह के कार्यक्रम आदि का भी आयोजन किया जाता है।

इसके साथ ही कई स्कूलों में बच्चों से नए साल का महत्व समझने के लिए निबंध आदि लिखने के लिए भी कहा जाता है। इसलिए आज हम आपको अपने इस आर्टिकल में नए साल पर अलग-अलग शब्दों में निबंध उपलब्ध करवा रहे हैं, जो कि इस प्रकार है-

New Year Essay in Hindi

नए साल पर निबंध – New Year Essay in Hindi

प्रस्तावना

नया साल नई आशाओं और उम्मीदों से भरा होता है। नया साल न सिर्फ हमारे अंदर सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है, बल्कि हमें जीवन में आगे बढ़ने की भी प्रेरणा देता है। नए साल से एक नई शुरुआत होती है।

इसका हर किसी के लिए अलग-अलग महत्व होता है। सभी धर्म, जाति, संप्रदाय के लोग 1 जनवरी को नए साल का जश्न मनाते हैं और इस दिन एक-दूसरे के जीवन में खुशियां लाने की कामना करते हैं एवं बधाई संदेश देते हैं।

कब और क्यों मनाया जाता है नया साल – When and Why do We Celebrate New Years

वैसे तो पूरी दुनिया भर में अलग-अलग दिन में नए साल का जश्न मनाया जाता है, लेकिन अंग्रेजी कैलेंडर के मुताबिक 1 जनवरी से नए साल की शुरुआत मानी जाती है, इसलिए विश्व भर के लोग साल के आखिरी दिन 31 दिसंबर को अलविदा कहते हैं और 1 जनवरी को हर साल नए साल का स्वागत करते हैं और आने वाले साल में अपनी बेहतरी  का प्रयास करते हैं।

1 जनवरी को ही नया साल मनाने के पीछे कई अन्य मान्यताएं और कारण हैं। इसके बारे में सबसे प्रचलित मान्यता यह है कि जनवरी माह का नाम दो मुख वाले रोमन के देवता ”जानूस” के नाम पर रखा गया था।

देवता जानूस का एक मुख आगे की तरफ और दूसरा मुख पीछे की तरफ था, जिसके चलते उन्हें बीते हुए कल और आने वाले कल के बारे में पता रहता था। इसलिए देवता जानूस के नाम पर 1 जनवरी को नए साल की शुरुआत के रुप में मनाया जाता है।

इसके अलावा 1 जनवरी को नया साल मनाने की पीछे एक अन्य वजह यह भी मानी जाती है कि करीब 45 ईसा पूर्व में रोम के बादशाह जुलियर सीजर ने जुलियन कैलेंडर का निर्माण करवाया था, तब से लेकर आज तक 1 जनवरी को साल के पहले दिन के रुप में मनाते हैं।  हालांकि जुलियन कैलेंडर में काफी त्रुटियां पाए जाने के बाद ग्रिगोरियन कैलेंडर आया।

1 जनवरी को मनाए जाने वाला नया साल ग्रिगोरियन कैलेंडर पर आधारित भी माना जाता है। इसकी शुरुआत 15 अक्टूबर, 1582 से हुई थी। ऐसा माना जाता है कि ईसाई धर्म के लोगों ने क्रिसमस के पर्व की तारीख सुनिश्चित करने के लिए ग्रिगोरियन कैलेंडर की शुरुआत की थी, क्योंकि इससे पहले क्रिसमस मनाने की भी कोई भी तिथि निर्धारित नहीं थी।

हालांकि, हिन्दू धर्म में चैत्र मास की शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा या फिर चैत्र नवरात्र के पहले दिन से नव वर्ष की शुरुआत मानी जाती है, जबकि इस्लाम धर्म के लोग मोहर्रम माह की 1 तारीख से नया साल की शुरुआत मानते हैं तो वहीं पंजाबी लोग बैसाखी, गुजराती लोग दीपावली के दूसरे दिन से और महाराष्ट्र के लोग गुड़ी पड़वा से नव वर्ष की शुरुआत मानते हैं।

उपसंहार

इस तरह पूरी दुनिया में अलग-अलग ढंग से नया साल मनाया जाता है। इस दिन को नई शुरुआत के रुप में लोग मनाते हैं। नया साल लोगों के अंदर आगे बढ़ने का जज्बा पैदा करता है और उनके अंदर सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है।

नए साल पर निबंध – Naye Saal Par Nibandh

प्रस्तावना

नए साल से हर किसी को ढेरों उम्मीद लगी रहती है। नया साल में लोग खुद को और अधिक बेहतर बनाने का संकल्प लेते हैं एवं कई दिन पहले से ही इसके जश्न की तैयारियां करने लगते हैं। 31 दिसंबर की रात से नए साल का स्वागत करते हैं।

भारत में नए साल का जश्न – New Year in India

भारत में अलग-अलग धर्म, जाति और संप्रदाय के लोग रहते हैं, जो कि नया साल का जश्न अपने-अपने तरीके से मनाते हैं। लेकिन पश्चिमी सभ्यता के प्रभाव के कारण भारत में ज्यादातर लोग 1 जनवरी को नए साल के रुप में धूमधाम से मनाते हैं।

भारत में नए साल को लेकर खासकर युवाओं में काफी उत्साह रहता है। वहीं इस मौके पर कई जगहों पर अलग-अलग तरह के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है। नए साल के मौके पर एक-दूसरे को हैप्पी न्यू ईयर बोलकर बधाई संदेश देते हैं एवं एक-दूसरे के जीवन की खुशहाली की कामना करते हैं।

नया साल का महत्व – Importance Of New Year

पूरे विश्व भर के लोग नए साल का जश्न अलग-अलग तरीके से मनाते हैं। सभी के लिए नए साल का विशेष महत्व होता है। नया साल जीवन में आगे बढ़ने की प्रेरणा देता है। इसके साथ ही हमारे मन में जीवन के प्रति सकारात्मकता भरता है।

नए साल की शुरुआत में लोग अपनी गलतियों को सुधारने और असफलताओं से सीख लेकर आगे बढ़ने का संकल्प लेते हैं। इसके साथ ही इस मौके पर अपने करियर, फैमिली, स्वास्थ्य आदि को लेकर गोल सेट करते हैं।

नया साल हमारे अंदर एक नई ऊर्जा का संचार करता है इसलिए इसका हम सभी के जीवन में खास महत्व है।

नए साल पर होने वाले उत्सव – How To Celebrate New Year

दुनिया भर में नए साल के मौके पर अलग-अलग जगहों पर अलग-अलग तरह के कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है। न्यू ईयर की धूम क्रिसमस से ही दिखने लगती है। इस दिन को लोग अपने-अपने तरीके से मनाते हैं।

कोई अपनी फैमिली के साथ ट्रिप पर जाता है, तो कोई अपने दोस्तों और परिवार के साथ पार्टी आदि का आयोजन करते हैं। इस मौके पर बाजार एवं मॉल आदि में आर्कषक एवं भव्य सजावट भी की जाती है। वहीं 31 दिसंबर की रात से ही लोग आतिशबाजी आदि कर लोग नए साल का स्वागत करते हैं एवं एक दूसरे को नए साल की बधाई देते हैं।

उपसंहार

नया साल नई उम्मीदों और खुशियों से भरा होता है। इस मौके पर हम सभी को अपनी बुरी आदतों को छोड़कर नए सिरे से अपनी जिंदगी की शुरुआत करने का संकल्प लेना चाहिए।

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