Gujarat History in Hindi
Gujarat – गुजरात भारत देश के अन्य राज्यों जैसा ही एक महत्वपूर्ण राज्य। गुजरात में कई सारे क्रांतिकारी हुए जिन्होंने देश को आजाद बनाने के लिए निस्वार्थ भाव से काम किया। देश के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी सबसे वयोवृद्ध पुरुष दादाभाई नौरोजी, और संयुक्त भारत के शिल्पकार सरदार वल्लभभाई पटेल जैसे महान लोग गुजरात से थे।
गुजरात राज्य का इतिहास और जानकारी – Gujarat History Information in Hindi
गुजरात राज्य के बारेमें – Gujarat History in Hindi
राज्य का नाम | गुजरात (Gujarat) |
राजधानी का शहर (capital of gujarat) | गांधीनगर |
राज्य की प्रमुख भाषा (मातृभाषा) | गुजराती |
क्षेत्रफल की दृष्टीसे राज्य का देश में स्थान | पाँचवा (5th) |
राज्य के अंतर्गत कुल जिले | ३३ |
राज्य निर्मिति का साल | १ मई १९६० |
स्वतंत्रता संग्राम से जुड़े प्रमुख राज्य अंतर्गत आंदोलन |
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मूलतः राज्य से जुड़े प्रमुख स्वतंत्रता सेनानी |
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राज्य अंतर्गत आनेवाले प्रमुख पर्यटन स्थल |
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प्रमुख धार्मिक स्थल |
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राज्य का प्रमुख फूल (State Flower of Gujarat) | मैरीगोल्ड |
राज्य का प्रमुख प्राणी (State Animal of Gujarat) | एशियाई शेर |
राज्य का प्रमुख पक्षी (State Bird of Gujarat) | राजहंस |
राज्य का प्रमुख पेड़ (State Tree of Gujarat) | बरगद |
राज्य का प्रमुख फल (State Fruit of Gujarat) | आम |
गुजरात राज्य का इतिहास – Gujarat ka Itihas
इस महान और बड़े राज्य का इतिहास काफी पुराना है और इस राज्य को पहले गुजराता (गुर्जर राष्ट्र) कहा जाता था जिसका अर्थ होता है की गुर्जर लोगो का राष्ट्र। कुछ लोगो का ऐसा भी मानना है की गुर्जर लोग मध्य एशिया में रहते थे और पहली शताब्दी के दौरान भारत आये थे।
गुजरात में भी सिन्धु संस्कृति और हड़प्पा संस्कृति के लोग रहते थे। इस बात को साबित करने के लिए लोथल और धोलावीरा में जब खुदाई की गई तब कुछ पुख्ता सबुत मिले थे। गुजरात जैसे राज्य पर बहुत सारे शूरवीर राजा महाराजा ने राज्य किया था। इसीलिए गुजरात का इतिहास भी बहुत बड़ा बन चूका है।
इस राज्य पर मौर्य, स्क्यथियन, गुप्त, सोलंकी और मुग़ल जैसे शक्तिशाली वंश के लोगो ने शासन किया था। उन सभी राजा महाराजा ने गुजरात की संस्कृति को अधिक सम्पन्न बनाने के लिए बड़ा योगदान दिया था। उन्होंने कई सारे स्मारक बनवाये थे और कई सारी नयी परम्पराए नए सिरे से जारी कर दी थी।
बाद में फिर राज्य में गुर्जर और पारसी लोग रहते थे। लेकिन 18 वी शताब्दी तक वो सभी लोग मुग़ल और मराठा शासन के नियंत्रण में थे। सन 1818 के करीब अंग्रेज भारत में आये थे और उन्होंने 1947 तक भारत पर राज किया था। अंग्रेजो ने इस्ट इंडिया कंपनी का पहला मुख्यालय सूरत में स्थापित किया था। लेकिन बाद में अंग्रेजो ने इस मुख्यालय को बॉम्बे (अभी मुंबई) में स्थानांतरित कर दिया था।
1960 में गुजरात के लोगो ने खुद के लिए नया राज्य बनवाने का फैसला लिया था। इस फैसले के कारण ही गुजरात और महाराष्ट्र का निर्माण करवाया गया। 1 मई 1960 को गुजरात को भारत का एक राज्य के रूप में मान लिया गया था। जब शुरुवात में गुजरात राज्य बना था तब अहमदाबाद इसकी राजधानी थी लेकिन बादमे सन 1970 में गांधीनगर को राजधानी बनाया गया था। आज गुजरात पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण राज्य माना जाता है।
गुजरात राज्य की भाषा – Language of Gujarat state
गुजरात विभिन्न जातियों, धर्मों और समुदायों के लोगों द्वारा बसे हुए हैं। इस कारण से, राज्य में कई विभिन्न भाषाओं बोली जाती हैं। राज्य की आधिकारिक भाषा गुजराती है। गुजराती दुनिया की 26 वीं सबसे व्यापक रूप से बोली जाने वाली भाषा है। इसके अतिरिक्त, राज्य के विभिन्न हिस्सों में बोली जाने वाली ग्यारह बोलियाँ हैं।
स्वतंत्र महाराष्ट्र और गुजरात राज्य की निर्मिती – Gujarat and Maharashtra Partition
भारतीय इतिहास पर नजर डाले अंग्रेज शासन के भारत से जाने के समय से ही देश में मौजूद संस्थानों को भारत से जोड़े रखने का महत्वपूर्ण मुद्दा उस समय के राजनेताओ के सांमने था इसमें हैद्राबाद संस्थान के अंतर्गत दक्षिण भारत का एक बड़ा भूभाग था।
जिसमे महाराष्ट्र के मराठवाड़ा और दक्षिण भारत से सटे सीमावर्ती प्रदेश समेत लगभग गुजरात का अधिकतर प्रदेश शामिल था, इसमें हैद्राबाद के निजाम के पाकिस्तान से गुप्त संबंध इस मुद्दे को दिन ब दिन और पेचिदा बना रहे थे।
Famous Personalities of Gujarat
स्वामी रामानंद तीर्थ के नेतृत्व में शुरू किये गए संयुक्त महाराष्ट्र अभियान के तहत तथा भाषा के आधार पर राज्य निर्मिती का हवाला देते हुए मराठवाड़ा मुक्ति संग्राम का जन्म हुआ। जिसमे साल १९६० तक हैद्राबाद का निजाम संस्थान एक अकेला संस्थान था जो भारत में शामिल होने से इनकार करता रहा इसके विरोध में महाराष्ट्र के मराठवाड़ा और गुजरात राज्य में आंदोलन और हिंसक झड़प भी होती गई।
गुजरात और मराठवाड़ा में रझाकार जो के निजाम के द्वारा तैयार किये गए संघटन थे उनसे स्थानिक लोगो के हिंसक आंदोलन और झड़पों ने स्थिति को पूरी तरह काबू से बाहर जैसे हालात उत्पन्न किये। इसी बिच रामानंद तीर्थ की सूझ बुझ से इस मुद्दे को भारत शासन के विचाराधीन लाया गया और निजाम का बंदोबस्त करने हेतु भारत सरकार द्वारा सैन्य करवाई का निर्णय लिया गया।
जिसमे निजाम को अंततः भारत सरकार के सामने घुटने टेकने पड़े और हैद्राबाद संस्थान पूर्ण सामर्थ्य से भारत सरकार के अधीन लाया गया। इसके साथ ही भाषा के आधार पर राज्य निर्मिती प्रस्ताव के तहत १ मई १९६० को स्वतंत्र महाराष्ट्र और गुजरात राज्य की निर्मिती की गई। इस क्रांतिकारक घटना ने निजाम का पूर्णतः सफाया कर भारत विरुध्द पाकिस्तान के साथ का उसका गुप्त षड्यंत्र भी नष्ट हुआ।
गुजरात के कुछ महत्वपूर्ण जिले – Districts of Gujarat
भारत के कुल क्षेत्रफल का विभाजन करके देखे तो क्षेत्र के अनुसार भारत के दस प्रमुख राज्यों में गुजरात राज्य शामिल है, जिसमे कुल ३३ जिले शामिल है।प्रशासनिक व्यवस्था के तहत इन सभी जिलों के अंतर्गत कुल २५२ तालुका और जिसमे लगभग १८,६१८ ग्रामीण विभाग शामिल है।
साल २०११ की जनगणना के आधार पर हमें जनसँख्या के साथ राज्य के प्रशासनिक व्यवस्था के अंतर्गत दी गई जानकारी प्राप्त होती है।
- गांधीनगर: यह जिला गुजरात की आत्मा है। यह गुजरात का दोनों, सांस्कृतिक और व्यावसायिक धागा है।
- कच्छ: गुजरात में न केवल कच्छ, बल्कि भारत में भी सबसे बड़ा जिला है। कच्छ में अधिकांश भूमि रेगिस्तानी रूप में है।
- सूरत: यह जिला भारत में सबसे अच्छा हीरा और ज़ारी काम के लिए भी जाना जाता है।
- अहमदाबाद: अहमदाबाद, जिसे भारत के मैनचेस्टर के रूप में जाना जाता है, अपने वस्त्र उद्योगों के लिए प्रसिद्ध है।
- वडोदरा: यह जिला इसके उर्वरक, फार्मास्यूटिकल और कांच उद्योगों के लिए जाना जाता है, जिससे गुजरात का प्रमुख औद्योगिक हब बन जाता है।
- राजकोट: यह गन्ना, मूंगफली और कपास का उत्पादन करने के लिए जाना जाता है।
- आनंद: यह एक और जिला है जो सबसे अच्छा डेयरी उत्पाद ब्रांड ‘अमूल’ लाता है। मुख्य डेयरी यहां स्थित है।
एक नजर डालेंगे गुजरात के सभी ३३ जिलों की सूची – Gujarat District List
- अमरेली
- आनंद
- अहमदाबाद
- अरवली
- बनासकांठा
- भरुच
- भावनगर
- बोटाड
- छोटा उदयपुर
- दहोड
- डांग
- देवभूमि द्वारका
- गांधीनगर (राजधानी – Capital of Gujarat)
- गिर सोमनाथ
- जामनगर
- जूनागढ़
- कूच
- खेड़ा
- महिसागर
- मेहसाणा
- मोरबी
- नर्मदा
- नवसारी
- पंचमहल
- पाटण
- पोरबंदर
- राजकोट
- साबरकांठा
- सूरत
- सुरेंद्रनगर
- तापी
- वड़ोदरा
- वालसाड
गुजरात राज्य में मौजूद प्रमुख हवाई अड्डे – Airports in Gujarat
- सरदार वल्लभभाई पटेल आंतरराष्ट्रिय एअरपोर्ट(अहमदाबाद)
- सूरत एअरपोर्ट
- भावनगर एअरपोर्ट
- राजकोट एअरपोर्ट
- जामनगर एअरपोर्ट
- वड़ोदरा एअरपोर्ट
- भुज एअरपोर्ट
गुजरात के शिक्षा संबंधी प्रमुख संस्थान / यूनिवर्सिटी – University of Gujarat
- वीर नर्मद दक्षिण गुजरात यूनिवर्सिटी – सूरत
- डॉ. बाबासाहेब मुक्त शिक्षा यूनिवर्सिटी – अहमदाबाद
- गुजरात यूनिवर्सिटी – अहमदाबाद
- सरदार पटेल यूनिवर्सिटी
- सौराष्ट्र यूनिवर्सिटी – राजकोट
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान – गांधीनगर
- भक्त कवि नरसी मेहता यूनिवर्सिटी
- निरमा यूनिवर्सिटी
- महाराजा सयाजीराव यूनिवर्सिटी – बड़ोदा
- गणपत यूनिवर्सिटी – मेहसाणा
गुजरात का धर्म – Religion of Gujarat
भारत के अन्य राज्यों की तरह गुजरात में भी विभिन्न जाती और धर्मं के लोग बड़े ही प्रेम भाव से रहते है। भारत के सबसे अधिक औद्योगिक राज्यों में गुजरात का भी नाम आता है और औद्योगिकिकरण ज्यादा होने के कारण युवा के लिए रोजगार के अवसर बड़े पैमाने पर उपलब्ध है।
इसीलिए देश के हर कोने में से लोग यहापर काम ढूंढने आते है और यही पर हमेशा के लिए बस जाते है। गुजरात में अधिकतर लोग हिन्दू धर्म के ही है और लगभग 89.1% लोग हिन्दू धर्मं के ही है। गुजरात के लोग बहुत ही रुढ़िवादी है और केवल शाकाहारी खाना ही खाते है।
यहाँ के जितने भी हिन्दू धर्म के लोग है उनकी प्रमुख देवता भगवान श्री कृष्ण ही है। पुरे राज्य में श्रीकृष्ण की श्रीनाथजी के रूप में पूजा की जाती है। गुजरात में हिन्दू के अलावा भी पारसी, मुस्लीम, सिख और जैन धर्मं के लोगो की संख्या भी बहुत बड़ी है। इन सबसे हमें गुजरात की सांस्कृतिक विविधता समझ में आती है।
गुजरात के त्यौहार – Festivals of Gujarat
इस राज्य को त्यौहार का राज्य माना जाता है। त्योहारों को पुरे उत्साह के साथ मनाने के लिए गुजरात देश और विदेश में जाना जाता है। पुरे देश में बहुत से त्यौहार हैं लेकिन कुछ उत्सव ऐसे भी है जो केवल गुजरात से ही जुड़े है।
इस तरह के त्यौहार बहुत पुराने ज़माने से गुजरात में मनाये जाते है। अपनी प्रथा और परंपरा को बनाये रखने के लिए यहाँ के लोग उत्सव मनाते है। गुजरात मे सबसे ज्यादा नवरात्री का उत्सव मनाया जाता है।
- नवरात्रि – Navratri
नवरात्रि गुजरात का सबसे प्रमुख त्यौहार माना जाता है। त्यौहार को बड़े पैमाने पर और बड़े उत्साह के साथ मनाने के लिए गुजरात राज्य काफी जाना जाता है। यह त्यौहार केवल गुजरात में ही नहीं बल्की पुरे देश में बड़े उत्साह के साथ मनाया जाता है। नवरात्री का आयोजन करने के लिए बहुत सारी व्यवस्था की जाती है।
गुजरात सरकार भी इस त्यौहार को अच्छे से मनाने के लिए तयारियो में लग जाता है। दशहरा के नौ दिन पहले इस त्यौहार की शुरुवात होती है। देवी के नौ अवतार की पूजा इस त्यौहार के दौरान की जाती है। पुरे नौ दिनों में लोग देवी के उपवास करते है और मंदिरों में जाकर देवी के दर्शन लेते है।
रात के समय तो त्यौहार को बूढ़े और जवान सभी लोग एक साथ में मिलकर मनाते है। इस उत्सव में सबसे मुख्य आकर्षण डांडिया रास और गरबा ही रहता है। यह दोनों भी नृत्यु इस प्रदेश के पारंपरिक नृत्य में गिने जाते है। इसमें लोग ड्रम की धुन पर नाचते है और साथ में लोकगीत गाते है। डंडिया रास के दौरान सभी लोग इकट्टा होकर मैदान में इस नृत्य का आनंद लेते है। यह नृत्य देर रात तक बड़े उत्साह के साथ मनाया जाता है।
- कच्छ का महोत्सव – Festival of Kachchh
कच्छ का त्यौहार गुजरात के कच्छ प्रदेश में मनाया जाता है। इस त्यौहार को गुजरात पर्यटन निगम की तरफ़ से आयोजित किया जाता है और यह त्यौहार छे दिन तक चलता है।
- रथ यात्रा – Rath Yaatra
रथ यात्रा एक बहुत ही बड़ा उत्सव है जो गुजरात में बड़े उत्साह के साथ मनाया जाता है। इस उत्सव के नाम से ही हमें मालूम पड़ता है इस उत्सव में बड़े बड़े लकड़ी के रथ बनाये जाते है और उसमे भगवान कृष्ण, भगवान बलराम और देवी सुभद्रा को इन रथो में बिठाया जाता है।
- दंग दरबार – Dang Darabaar
दंग दरबार का उत्सव गुजरात के दंग जिले में बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है। यह जिला सातपुडा पर्वत में आता है। इस जिले में ज्यादातर जनजाति वाले लोग रहते है जो इस प्रदेश में बहुत पुराने ज़माने से रहते है। इसी कारण दंग दरबार का उत्सव जनजाति के लोगो का त्यौहार बन चूका है।
गुजरात के मंदिर – Temples of Gujarat
गुजरात में कई सारे मंदिर है जिसके कारण गुजरात को एक पवित्र राज्य माना जाता है। इन मंदिरों के कारण कई सारे यात्री इस स्थान पर हमेशा आते रहते है। यहाँ के सभी मंदिरे को देखकर पुराने समय याद आ जाती है और जिन्हें पुराणी वास्तुकला में काफी रुची है उनके लिए यह जगह सभी तरह से सही है।
गुजरात के देव और देवी के मंदिरे उनकी सुन्दरता और भव्यता के कारण विशेष जाने जाते है। इन मंदिरों को एक बार भेट देने के बाद आप के मन में भी भगवान के प्रति प्रेम और समर्पण की भावना जागृत हो जाती है।
- सूर्य मंदिर – Sun temple
गुजरात का सूर्य मंदिर मोढेरा में स्थित है। यह सूर्य मंदिर कोणार्क के सूर्य मंदिर की तरह दीखता है और यह मंदिर भगवान सूर्यदेव को समर्पित है। इस मंदिर में हर साल जनवरी के महीने में नृत्य उत्सव का आयोजन किया जाता है।
- अक्षरधाम मंदिर – Akshardham Temple
अक्षरधाम मंदिर गुजरात की राजधानी गांधीनगर में स्थित है। ऐसा शानदार और दिव्य मंदिर भगवान स्वामीनारायण को समर्पित है। पुरे गुजरात में इस मंदिर के परिसर जैसा बड़ा परिसर कहा पर भी देखने को नहीं मिलता।
- सोमनाथ मंदिर – Somnath temple
सोमनाथ मंदिर गुजरात के जुनागड़ जिले में स्थित है। यह प्रसिद्ध मंदिर भगवान शिव को समर्पित है। भारत के बारा ज्योतिर्लिंग मंदिर में से यह एक मंदिर है। इस मंदिर की खास बात यह है की इसे छे बार बनवाया गया और छे बार तोडा गया।
- अम्बाजी मंदिर – Ambaji Temple
अम्बाजी मंदिर गुजरात के बनासकांठा जिले के अम्बाजी शहर में स्थित है। यह पवित्र मंदिर देवी आंबे माता को समर्पित है। भारत में जितने भी शक्तीपीठ है उनमेसे एक यह एक शक्तिपीठ माना जाता है।
- द्वारकाधीश मंदिर – Temple of Dvaarakaadheesh
द्वारका शहर गुजरात के जामनगर जिले में आता है। यह शहर गुजरात का बहुत ही पुराना मंदिर है और इस शहर में देश का बहुत ही प्रसिद्ध द्वारकाधीश मंदिर है जो देश के हिन्दू लोगो का सबसे बड़ा तीर्थस्थल माना जाता है। इस शहर की समृद्धि को देखकर इसे ‘स्वर्ण द्वारका’ भी कहा जाता है।
- गिरनार मंदिर – Girnar Temple
गुजरात के पवित्र स्थलों मे गिरनार का भी नाम लिया जाता है। गिरनार जुनागड़ के नजदीक में ही स्थित है। इस जगह इतने सारे मंदिर देखने को मिलते है जिसके कारण गिरनार एक मंदिरों का शहर बन चूका है। गुजरात जैसे महान और पवित्र राज्य में देखने जैसी बहुत जगह है।
यहापर कई सारे हिन्दू मंदिर, जैन मंदिर और अन्य धर्म के मंदिरों की कोई कमी नहीं। यहापर त्योहारों की भी कोई कमी नहीं। यहाँ हर तरह के उत्सव बड़े आनंद से मनाये जाते है। नवरात्री, दंग दरबार, मोढेरा नृत्य त्यौहार जैसे कई सारे त्यौहार मनाये जाते है। मंदिरों में भी यहापर विविधता दिखाई देती है। यहापर का हर मंदिर दुसरे मंदिर से पूरी तरह से अलग है।
हर मंदिर की खुद की अलग पहचान है। सूर्य मंदिर, सोमनाथ मंदिर, द्वारकाधीश मंदिर, गिरनार मंदिर जैसे प्रसिद्ध मंदिर केवल इसी राज्य में देखने को मिलते है। यहाँ का जो सूर्य मंदिर है वो तो सबसे खास है। इस मंदिर को देखने के बाद आप को कोणार्क के सूर्य मंदिर की याद आ जाती है क्यों की यहाँ का सूर्य मंदिर बिलकुल कोणार्क के मंदिर की तरह ही बनवाया गया है।
गुजरात राज्य की एक बात सबसे विशेष है की इस राज्य में खुद भगवान कृष्ण रहते थे। गुजरात के द्वारका शहर में भगवान कृष्ण रहते थे और वहासे ही अपना राज्य चलाते थे। द्वारका शहर बहुत सुन्दर और समृद्ध था।
अपनी इस राजधानी से भगवान श्री कृष्ण सब पर ध्यान रखते थे। ऐसा भी कहा जाता है की उनका यह शहर सोने से बनाया गया था। सभी तरफ़ स्वर्ण की इमारते, लोगो के घर बनाये जाते थे। शायद इसी कारण उनके इस शहर को स्वर्ण का शहर भी कहा जाता था।
गुजरात राज्य के बारेमें अधिकतर बार पूछे जाने वाले सवाल – Quiz on Gujarat
- भारत के राज्य गुजरात की वित्तीय प्रणाली तथा राज्यनिहाय कोड संख्या क्या है? (What is a state code of Gujarat?) जवाब: २४।
2. १ मई १९६० को भारत के गुजरात और महाराष्ट्र राज्य से तत्कालीन कौनसा राज्य संस्थान अलग किया गया? (Which State was Divided into Maharashtra and Gujarat in 1960) जवाब: बॉम्बे स्टेट एक बड़ा प्रशासनिक प्रांत था जिसके अंतर्गत महाराष्ट्र और गुजरात के कुछ प्रदेश शामिल थे जिसे १ मई १९६० को बर्खास्त कर स्वतंत्र गुजरात और महाराष्ट्र राज्य की निर्मिती की गई और अंततः आज मुंबई शहर के नामसे ये विभाग महाराष्ट्र राज्य शासन के अंतर्गत है जिसमे से गुजरात के संपूर्ण प्रदेश निकाल दिए गए है।
3. प्राचीन तथा मध्ययुगीन काल में गुजरात में किन प्रमुख शासको ने शासन किया था? (Kings of Gujarat) जवाब: प्राचीन काल में यहाँ चन्द्रगुप्त मौर्य, राजा रुद्रदमन, सातवाहन राजा गौतमीपुत्र सातकर्णी, गुप्त वंश के राजा चन्द्रगुप्त विक्रमादित्य इत्यादी राजाओ का शासन था। वही मध्ययुगीन काल में प्रतिहार राजा नागभट प्रथम तथा चालुक्य राजा विक्रमादित्य द्वितीय का राज था इसके अलावा गुर्जर, राष्ट्रकूट, गुहिला,पाल, वाघेला आदि राजघरानों का गुजरात के विभिन्न प्रदेशो पर शासन रहा। जिसमे मुस्लिम शासको के भारत में प्रवेश के बाद इन विभिन्न घरानो के प्रभाव के कमी आई।
4. गुजरात राज्य का स्थानिक खेल कौनसा है? (State game of Gujarat) जवाब: कबड्डी।
5. गुजरात राज्य में प्रमुखता से कौनसा खाद्य व्यंजन पसंदीदा तौर पर खाया जाता है? (Staple food of Gujarat) जवाब: खिचड़ी, ढोकला, फाफड़ा, मेथी का ठेपला, दाल ढोकली, खांडवी।
6. प्रसिध्द नृत्य गरबा किस राज्य से संबंधित है? गरबा किस राज्य का प्रमुख पारंपरिक नृत्य प्रकार है? (Folk dance of Gujarat state) जवाब: गुजरात।
7. गुजरात राज्य के इतिहास संबंधी जानकारी किन प्रमुख किताबों से उपलब्ध होती है? (Gujarat History Book) जवाब: अ हिस्ट्री ऑफ़ गुजरात – दोसाभाई एडाल्जी, द पॉलिटिकल एंड स्टैटिस्टिकल हिस्ट्री ऑफ़ गुजरात, सोसाइटी एंड हिस्ट्री ऑफ़ गुजरात सीन्स १८००, पोर्ट टाउन्स ऑफ़ गुजरात, गुजरात – द हिस्ट्री ऑफ़ द एन्सिएंट इंडियन स्टेट फ्रॉम द इंडस वैली सिविलाइज़ेशन इत्यादि।
8. पर्यटन के दृष्टी से कौनसे रमणीय स्थल गुजरात राज्य में मौजूद है? (Tourism places in Gujarat) जवाब: स्टैच्यू ऑफ़ यूनिटी, रानी की वाव, साबरमती आश्रम, मोढेरा सूर्य मंदिर, अदलज कुँवा, कंकरिया लेक, गिर राष्ट्रीय अभयारण इत्यादि।
9. गुजरात राज्य के अंतर्गत कौनसे धार्मिक स्थल मौजूद है? (Holy religious places in Gujarat) जवाब: सोमनाथ ज्योतिर्लिंग मंदिर, द्वारकाधीश श्रीकृष्ण मंदिर, पावागढ़ महाकाली मंदिर, अक्षरधाम मंदिर, सूर्य मंदिर, गिरनार मंदिर, अंबाजी मंदिर इत्यादि।
10. गुजरात राज्य में कौनसे प्राकृतिक सुंदरतापूर्ण समुद्री तट उपलब्ध है?(Beaches in Gujarat) जवाब: तिथल, नारगोल, दीव, अहमदपुर मांडवी, द्वारका, सरखेश्वर, जामनगर तथा सोमनाथ आदि जगहों पर सुंदर प्राकृतिक समुद्री तट उपलब्ध है।
11. प्राचीन पुरातत्व अवशेषों का उत्खनन गुजरात में कौनसे जगह पर किया गया, जहा व्यापक मात्रा में अवशेष प्राप्त हुए है?(Archaeological excavation place in Gujarat) जवाब: लोथल।
Very nice history