DSP Kaise Bane
पुलिस विभाग मे वैसे तो विभिन्न निम्न तथा उच्च स्तर के पद मौजूद होते है, पर इनमे शामिल डी.एस.पी(DSP) पद क्या होता है इस बारे मे अगर आप जानने हेतू उत्सुक है, तो लेख द्वारा दी जानकारी आपके लिए खास होनेवाली है।
यहाँ आप डी.एस.पी पद से जुडी आवश्यक पात्रताए, परीक्षाए, इस पद हेतू दी जानेवाली सैलरी तथा अन्य पह्लूओ पर बुनियादी जानकारी को प्राप्त कर पाएंगे। जिन सभी छात्रो को भविष्य मे डी.एस.पी के रूप मे करियर का निर्माण करना है, उन सभी के लिए मार्गदर्शन के तौर पर ये लेख साबित होगा।
हमारा प्रयास होगा के आपको डी.एस.पी पद से संबंधित आवश्यक जानकारी से अवगत कराए तथा आपके मन मे बसे शंकाओ का लेख द्वारा समाधान हो, इसी विश्वास के साथ तमाम बातो को आपके सामने जानकारी द्वारा स्पष्ट किया गया है। जिसका आपको उज्वल भविष्य हेतू लाभ हो यही हमारा मकसद है।
DSP ऑफिसर कैसे बने? – संपूर्ण जानकारी – DSP Kaise Bane
प्रमुख मुद्दे:
- डी.एस.पी का फुल फॉर्म क्या होता है? – Full Form of DSP
- डी.एस.पी पद के चयन हेतू आयोजित होनेवाली परीक्षाए – How to Become DSP
- परीक्षा का प्रारूप (डी.एस.पी पद हेतू)- DSP Exam Format
- परीक्षा का पाठ्यक्रम (डी.एस.पी हेतू )- DSP Exam Syllabus
- डी.एस.पी परीक्षा हेतू आवश्यक पात्रताए – DSP Eligibility
- डी.एस.पी पद हेतू दी जानेवाली सैलरी – DSP Salary
- प्रमुख कार्य/कर्तव्य(डी.एस.पी पद के) – Job Description of DSP
- डी.एस.पी पद के बारे मे अधिकतर बार पुछे जाने वाले सवाल – (Deputy superintendent of police) DSP Quiz Questions and Answers
डी.एस.पी का फुल फॉर्म क्या होता है? – Full Form of DSP
आम तौर पर समाज मे डी.एस.पी शब्द का ही प्रयोग किया जाता है, जिसके सही अर्थ या हिंदी अनुवाद से बहुत बार सामान्य लोग अनभिज्ञ होते है। पर सही मायने मे डी.एस.पी शब्द का फुल फॉर्म ‘डिप्टी सुपरिटेंडेंट ऑफ पुलिस’ होता है, जिसका हिंदी अनुवाद उप – पुलिस अधीक्षक होता है।
भारत मे इस पद हेतू कुछ प्रमुख प्रतियोगिता परीक्षा द्वारा उम्मिद्वारो का चयन किया जाता है, जो के राज्य सरकार के अंतर्गत वर्ग १ अधिकारी का पद होता है। पुलिस विभाग के उच्च स्तर अधिकारीयो की सूची मे इस पद का क्रम लगता है, जिस से जुडे अन्य महत्वपूर्ण पह्लूओ पर हम आगे विस्तार से चर्चा करेंगे।
डी.एस.पी पद के चयन हेतू आयोजित होनेवाली परीक्षाए – How to Become DSP
आपको बता दे की भारत मे राज्य सरकार और केंद्र सरकार कें अंतर्गत सभी प्रमुख सरकारी विभागो मे उच्च स्तर अधिकारीयो के चयन हेतू प्रतियोगिता परीक्षा आयोग मौजूद होते है। जिनमे शामिल निम्नलिखित दो प्रमुख आयोग द्वारा डी.एस.पी पद पर उम्मिद्वार चयनित किए जाते है, जैसे के;
- राज्य लोकसेवा आयोग परीक्षा (State Public Service Commission)
- संघ लोकसेवा आयोग परीक्षा (Union Public Service Commission)
राज्य लोकसेवा आयोग परीक्षा – Exam for DSP
उपरोक्त उल्लेख किया गया राज्य लोकसेवा आयोग भारत के लगभग सभी राज्यो मे मौजूद होता है, जिसके सहायता से प्रत्येक राज्य उनके विभिन्न सरकारी विभाग मे उम्मिद्वार का प्रतियोगिता परीक्षा के माध्यम से चयन करता है।
ठीक इसी के अंतर्गत राज्य पुलिस विभाग हेतू प्रतिवर्ष परीक्षा का आयोजन किया जाता है, जिसमे शारीरिक दृष्टी से मजबूत और सक्षम उम्मिद्वारो को परीक्षा के अंको के आधार पर चरण बध्द तरीके से चयनित किया जाता है।
वैसे तो राज्य लोकसेवा आयोग द्वारा पुलिस विभाग के अन्य पदो हेतू भी परीक्षा ली जाती है, पर मुख्य रूप से इस आयोग द्वारा राज्य पुलिस विभाग मे नियुक्त किया जानेवाला सर्वोच्च पद उप-पुलिस अधीक्षक होता है। जिस हेतू उपलब्ध परीक्षा का प्रारूप और संपूर्ण पाठ्यक्रम की जानकारी हम आगे विस्तार से आपको देंगे।
संघ लोकसेवा आयोग परीक्षा:
संघ लोकसेवा आयोग जिसे यु.पी.एस.सी (UPSC) भी कहाँ जाता है, भारत की सबसे प्रतिष्ठित परीक्षा मानी जाती है। ये भारत का स्वतंत्र आयोग होता है, जिसके अंतर्गत सालभर मे विभिन्न परीक्षाओ का आयोजन किया जाता है।
देश के लगभग सभी सरकारी विभागो हेतू कर्मचारी, उच्च स्तर अधिकारी पदो का चयन चरण बध्द तरीके इस आयोग द्वारा किया जाता है।
आपको बता दे की संघ लोकसेवा आयोग की प्रमुख परीक्षा को सिविल सर्विस परीक्षा (Civil Service Exam) या फिर भारतीय नागरी सेवा परीक्षा भी कहाँ जाता है।
यहाँ पर सिविल सर्विस परीक्षा के अंतर्गत देश के पुलिस विभाग मे सेवा हेतू भारतीय पुलिस सेवा (Indian Police Service) का विकल्प दिया हुआ होता है।
जो सभी उम्मिद्वार भारतीय पुलिस सेवा हेतू चयनित किए जाते है उन्हे अंतिमतः राज्य पुलिस विभाग मे शुरुवात मे उप-पुलिस अधीक्षक पद पर नियुक्त किया जाता है।
हालाकि कुछ सालो की सेवा के पश्चात ऐसे अधिकारीयो को उच्च स्तर पदो पर बढोतरी/पदोन्नती मिलती है, पर कार्य अनुभव हेतू कुछ सालो तक शुरू मे उप- पुलिस अधीक्षक पद सभी नये चयनित उम्मिद्वारो को प्रदान किया जाता है।
तात्पर्य यह है के इन दोनो विकल्पो द्वारा परीक्षा को उत्तीर्ण कर छात्र अपने उज्ज्वल भविष्य का निर्माण कर सकते है, जिसके अंतर्गत पुलिस विभाग के डी.एस.पी पद पर कार्य करने का सुनहरा अवसर प्राप्त हो जाता है।
डी.एस.पी पद हेतू परीक्षा का प्रारूप – DSP Exam Format
हम इस बात की आशा कर सकते है के उपरोक्त जानकारी को पढने के बाद आप सभी स्पष्ट तौर पर ये समझ चुके है के डी.एस.पी पद हेतू मौजूद परीक्षाए कौनसी होती है।
अब यहाँ जानने का प्रयास करेंगे के उपलब्ध परीक्षाओ का प्रारूप क्या होता है, तथा इनमे कौनसी प्रमुख बाते शामिल होती है। जो के इस प्रकार से है –
राज्य लोकसेवा आयोग परीक्षा का प्रारूप – State Public Service Commission Exam Format
- पूर्व परीक्षा (Preliminary Exam)
- मुख्य परीक्षा (Main Exam)
- साक्षात्कार (Interview)
आपको बता दे भारत मे मौजूद विभिन्न राज्य के स्वतंत्र लोक सेवा आयोग होने के वजह से, यहाँ पर दिए गये तीनो भी चरणो के तय अंको मे अंतर देखने को मिल सकता है।
इसलिए आप जिस भी राज्य के निवासी है, वहाँ के लोक सेवा आयोग से संबंधित आधिकारिक वेबसाईट द्वारा डी.एस.पी पद के परीक्षा की जानकारी हासिल करना आपके लिए उचित कदम साबित होता है।
संघ लोकसेवा आयोग परीक्षा का प्रारूप – UPSC Exam Format
- पूर्व परीक्षा (Preliminary Exam)
- मुख्य परीक्षा (Main Exam)
- साक्षात्कार (Interview)
पूर्व परीक्षा का प्रारूप – Preliminary Exam Format
पूर्व परीक्षा मे कुल दो पेपर होते है जिन्हे जनरल स्टडीज -१ और जनरल स्टडीज – २ के नामसे जाना जाता है। स्वतंत्र रूप से इन दोनो पेपर को २०० अंक होते है, इस तरह से कुल ४०० अंक की पूर्व परीक्षा होती है।
प्रत्येक पेपर को यहा हल करने हेतू २ घंटे का अवधी दिया गया होता है, जिसका प्रारूप बहुविकल्प तौर का होता यहाँ आपको पुछे गए प्रश्न के उत्तर हेतू चार विकल्प दिए गए होते है जिसमे से सही विकल्प का चयन आपको करना होता है।
जनरल स्टडीज -१ पेपर मे कुल १०० प्रश्न मौजूद होते है, जिसमे प्रत्येक प्रश्न को २ अंक दिए गए होते है, वही जनरल स्टडीज – २ पेपर मे ८० प्रश्न मौजूद होते है, जिसमे प्रत्येक प्रश्न को ढाई अंक दिए गए होते है।
जो भी उम्मिद्वार आयोग द्वारा तय अंको को प्राप्त कर पूर्व परीक्षा को उत्तीर्ण करते है, उन सभी को मुख्य परीक्षा हेतू पात्र समझा जाता है।
मुख्य परीक्षा का प्रारूप – DSP Exam Pattern
आपको बता दे की मुख्य परीक्षा का प्रारूप लिखित तौर पर होता है, जिसमे कुल ९ पेपर हेतू लिखित परीक्षा का आयोजन किया जाता है। मुख्य परीक्षा को आयोग द्वारा कुल १७५० अंक तय किए गए होते है, जिसका प्रत्येक पेपर अनुसार विवरण निम्नलिखित तौर पर दिया गया है –
- पेपर १ – निबंध (कुल अंक २५०, कुल समय ३ घंटे)
- पार्ट A – किसी भी एक भारतीय भाषा का अनिवार्य पेपर (कुल अंक ३००, कुल समय ३ घंटे)
- पार्ट B – अंग्रेजी भाषा ( कुल अंक ३००, कुल समय ३ घंटे)
- पेपर २ – जनरल स्टडीज पेपर १ (कुल अंक २५०, कुल समय ३ घंटे)
- जनरल स्टडीज पेपर २ (कुल अंक २५०, कुल समय ३ घंटे) – पेपर ३
- पेपर ४ – जनरल स्टडीज पेपर ३ (कुल अंक २५०, कुल समय ३ घंटे)
- जनरल स्टडीज पेपर ४ (कुल अंक २५०, कुल समय ३ घंटे) – पेपर ५
- पेपर ८ – वैकल्पिक पेपर १
- पेपर ९ – वैकल्पिक पेपर २
उपरोक्त दिए गए मुख्य परीक्षा के प्रारूप अंतर्गत सभी उम्मिद्वारो को पार्ट A और पार्ट B के रूप मे लिए जानेवाले दोनो भी पेपर को उत्तीर्ण करना अनिवार्य होता है।
जो उम्मिद्वार इन दो पेपर को उत्तीर्ण करते है केवल उनके अगले सात पेपर को जाँच कर अंक घोषित किए जाते है। अन्यथा इन दो पेपर में या इनमे से किसी भी एक पेपर में अनुत्तीर्ण उम्मीदवारों को फिरसे अगली बार आवेदन कर सफलता हेतु प्रयास करना होता है।
वैकल्पिक विषय तथा भारतीय भाषा के पेपर हेतू भाषा की सूची आयोग के आधिकारिक वेबसाईट पर उपलब्ध कराई गयी होती है, जिसमे से आपके अनुरूप भाषा और वैकल्पिक विषयो का चयन कर आवेदन करना होता है।
पार्ट A और पार्ट B पेपर को पात्रता पेपर कहाँ जाता है जिसमें प्राप्त अंको को अंतिम अंक सूची में जोड़ा नहीं जाता, केवल अन्य सात पेपर में प्राप्त अंको के आधार पर ही सफल उम्मीदवारों की आयोग के आधिकारिक वेबसाईट पर सूची जारी की जाती है।
जो सभी उम्मिद्वार मुख्य परीक्षा मे अच्छे अंको के साथ उत्तीर्ण होते है, उन सभी को साक्षात्कार के लिए बुलाया जाता है, जिसकी संक्षेप मे जानकारी हम आगे देखेंगे।
साक्षात्कार – DSP Interview
आयोग द्वारा तय अंक अनुसार जो भी उम्मिद्वार मुख्य परीक्षा को उत्तीर्ण करते है, उन्हे साक्षात्कार के अंतिम चरण हेतू बुलाया जाता है, जिसे उत्तीर्ण करना होता है।
यहाँ पर साक्षात्कार हेतू २७५ अंक तय किए गए होते है, जिनको अंतिम सूची जारी करते समय जोडा गया होता है। मतलब के आपको २७५ मे से जितने भी अंक साक्षात्कार मे प्राप्त होते है उसको आपके मेरीट लिस्ट के अंको मे शामिल किया जाता है।
उपरोक्त तीनो भी चरणो को उत्तीर्ण करने वाले उम्मिद्वारो को भारतीय प्रशासनिक सेवा, भारतीय पुलिस सेवा, भारतीय विदेश सेवा इत्यादी हेतू प्राप्त अंको के आधार पर चयनित किया जाता है। जिसमे से उच्च अंक प्राप्त उम्मिद्वारो को ऐच्छिक सेवा विभाग चूनने का मौका दिया जाता है।
इसके अलावा जो सभी उम्मिद्वार भारतीय पुलिस सेवा हेतू चयन किए जाते है, उन्हे कुछ महिनो की भारतीय पुलिस अकादमी मे ट्रेनिंग दी जाती है, जिसके पश्चात विभिन्न राज्य सरकार के अंतर्गत पुलिस विभाग मे ऐसे उम्मिद्वारो को उप-पुलिस अधीक्षक पद पर सेवा मे शामिल किया जाता है।
डी.एस.पी हेतू लिए जानेवाली परीक्षा का पाठ्यक्रम – DSP Exam Syllabus
यहाँ हम जानकारी लेंगे डी.एस.पी हेतू लिए जानेवाली परीक्षाओ के पाठ्यक्रम के बारे मे, जो के इस प्रकार से है –
- राज्य लोकसेवा आयोग परीक्षा का पाठ्यक्रम – State Public Service Commission Exam Syllabus
आप जिस राज्य के निवासी है वहाँ के राज्य लोकसेवा आयोग के आधिकारिक वेबसाईट द्वारा डी.एस.पी पद हेतू लिए जानेवाली परीक्षा का पाठ्यक्रम खोज निकालना आपके लिए उचित होता है।
आपको बता दे संघ लोकसेवा आयोग और राज्य लोकसेवा आयोग के पाठ्यक्रम मे सिवाय कुछ बातो को छोड दे तो उतना ज्यादा अंतर देखने को नही मिलता है, फिर भी अपने राज्य के परीक्षा का स्वतंत्र रूप से पाठ्यक्रम हासील कर उसके अनुसार इस परीक्षा की तैयारी करना आपको सफलता प्राप्त करने तक हर कदम पर लाभप्रद होता है।
- संघ लोकसेवा आयोग परीक्षा का पाठ्यक्रम – UPSC Exam Syllabus
निचे आपको संघ लोक सेवा आयोग का सभी चरणो का पाठ्यक्रम विस्तार से दिया गया है, जो के इस प्रकार से है –
पूर्व परीक्षा का पाठ्यक्रम – UPSC Preliminary Exam Syllabus
पेपर १ – जनरल स्टडीज १
- भारत का समग्र इतिहास और राष्ट्रीय स्वतंत्रता आंदोलन इत्यादि.. (History of India and Indian National Movement)
- भारतीय अर्थ व्यवस्था तथा आर्थिक विकास से संबंधित प्रमुख बाते – सामाजिक विकास, गरिबी, धोरणात्मक विकास, जनसंख्या इत्यादी .. (Economic and Social Development)
- समसामायीकी – भारत और विश्व की प्रमुख घटनाए (Current Affairs)
- सामान्य विज्ञान (General Science)
- भारत और विश्व का भूगोल (Geography of India and World)
- भारतीय राजनीती और प्रशासन – भारतीय संविधान, पंचायत राज, प्रशासनिक व्यवस्था, सामाजिक क्षेत्र की परियोजनाए और विकासात्मक कार्य इत्यादी.. (Indian Polity and Governance)
- पर्यावरण शास्त्र – जैव विविधता, वातावरणीय बदलाव, पर्यावरण परीस्थितिकी इत्यादी.. (Environmental Science)
पेपर २ – जनरल स्टडीज २
- निर्णय एवं समस्या निवारण क्षमता (Decision Making and Problem Solving)
- समझने की क्षमता (Comprehension)
- सामान्य बौद्धिक क्षमता (General Mental Ability)
- बुनियादी अंकगणित(Basic Numeracy)
- तर्क और आंकलन संबंधी प्रश्न (Logical and Analytical Reasoning)
- आंतरिक कौशल्य तथा संचार कला से जुडे प्रश्न (Interpersonal Skills and Communication Skills)
मुख्य परीक्षा का पाठ्यक्रम – UPSC Main Exam Syllabus
अंग्रेजी भाषा – English Language
- सटीक लेखन (Precis Writing)
- उपयोग और शब्द संग्रह (Usage and Vocabulary)
- लघु निबंध (Short Essays)
- पैसेज की समझ/बोध (Comprehension of Given Passages)
भारतीय भाषा (आयोग के भाषा सूची मे से कोई भी एक भारतीय भाषा) – Indian Language
- सटीक लेखन (Precis Writing)
- उपयोग और शब्द संग्रह (Usage and Vocabulary)
- लघु निबंध (Short Essays)
- पैसेज की समझ/बोध (Comprehension of Given Passages)
- अनुवाद करना(Translation from English to Indian Language and vice-versa) – अंग्रेजी से आपके द्वारा चयन किए गए भाषा मे, तथा इसके विपरीत।
निबंध पेपर – पेपर १
- प्रश्न पत्र मे दिए हुए विषय पर निबंध लिखना।
जनरल स्टडीज १ – पेपर २
- स्वतंत्रता संग्राम
- भारतीय कला एवं संस्कृती (प्राचीन काल से लेकर आधुनिक समय तक का साहित्य, स्थापत्य शास्त्र एवं निर्माण इत्यादि..)
- स्वातंत्र्योत्तर भारत और देश -अंतर्गत स्थिती
- भारतीय समाज और विविधता
- भारतीय समाज पर आधुनिकीकरण का प्रभाव
- महिलाओ का योगदान मुख्यतः भारतीय महिलाए, इत्यादि..
जनरल स्टडीज २ – पेपर ३
- भारतीय संविधान
- राज्य सरकार के अंतर्गत आनेवाले कार्य और जिम्मेदरिया
- राज्य मे मौजूद विधान भवन और भारतीय संसद
- विभिन्न संवैधानिक पद, पदो का चयन, इनके अधिकार
- गरिबी और भुकमरी
- प्रशासनिक सेवाओ का लोकशाही मे कर्तव्य
- सरकारी योजनाए, इत्यादि..
जनरल स्टडीज ३ – पेपर ४
- भारतीय अर्थव्यवस्था
- सरकारी वित्त नियोजन
- भारत मे हुए भूमी सुधार
- वित्तीय निवेश संबंधी मुद्दे
- आपदाए और आपदा प्रबंधन
- सुरक्षा से संबंधी चुनौतीया तथा सुरक्षा प्रबंधन
- विभिन्न सुरक्षा संस्थाए तथा उनसे जुडी प्रमुख बाते
- विज्ञान, सूचना प्रौद्योगिकी, इत्यादि…
जनरल स्टडीज ४ – पेपर ५
- आचार-विचार तथा मानवीय रचना
- प्रवृत्तीया
- बुद्धीजीवी तथा महान दार्शनिको का भारत और विश्व मे योगदान
- प्रशासनिक सेवा के लिए आवश्यक मूल्य तथा व्यवहार
- विभिन्न कानून
- सरकारी व्यवस्था से संबंधित आवश्यक नीतीपूर्ण मुद्दे, इत्यादि…
पेपर ६ – वैकल्पिक विषय
पेपर ७ – वैकल्पिक विषय
साक्षात्कार – Interview
कुल २७५ अंको का यह चरण होता है, जिसमे मुख्य परीक्षा मे उत्तीर्ण हुए तथा साक्षात्कार हेतू पात्र उम्मिद्वारो की समयसूचकता, मनोबल, निर्णय क्षमता, शिष्टाचार आदि गुणो की परख की जाती है।
इस प्रकार से कुल १७५० अंको के लिए मुख्य परीक्षा आयोजित की जाती है, जिसमे साक्षात्कार के २७५ अंको को जोड दिया जाता है। अतिमतः २०२५ अंको मे से प्राप्त होनेवाले कुल अंको के आधार पर उम्मिद्वारो का आयोग द्वारा चयन किया जाता है, जिसमे भारतीय पुलिस सेवा हेतू चुने गए उम्मिद्वारो को आय.पी.एस ऑफिसर कहाँ जाता है। इन सभी आय.पी.एस ऑफिसर को शुरुवात मे डी.एस.पी यानी के उप-पुलिस अधीक्षक पद पर नियुक्त किया जाता है।
डी.एस.पी परीक्षा हेतू आवश्यक पात्रताए – Required Eligibility Criteria For DSP Exams
१. राज्य लोक सेवा आयोग परीक्षा हेतू आवश्यक पात्रताए – Eligibility Criteria For State Public Service Commission Exam
अगर आप राज्य लोकसेवा आयोग की परीक्षा हेतू आवेदन करना चाहते है तथा आवश्यक पात्रता मानदंडो को जानना चाहते है तो आपको अपने राज्य के राज्य लोकसेवा आयोग के आधिकारिक वेबसाईट को भेंट देना आवश्यक बन जाता है।
संघ लोकसेवा आयोग की सिविल सर्विस परीक्षा हेतू आवश्यक पात्रताए – Eligibility Criteria for UPSC Exam.
- इस परीक्षा हेतू इच्छुक उम्मिद्वार ने किसी भी शिक्षा धारा से न्यूनतम स्नातक/बैचलर डिग्री परीक्षा को उत्तीर्ण किया होना आवश्यक होता है। जो सभी उम्मिद्वार स्नातक के अंतिम वर्ष की पढाई कर रहे है वे सभी परीक्षा के लिए आवेदन हेतू पात्र समझे जाते है, परंतु अंतिम चयन तक इन सभी उम्मिद्वारो ने स्नातक परीक्षा को उत्तीर्ण करना अनिवार्य होता है।
- परीक्षा इच्छुक उम्मिद्वार की न्यूनतम आयु २१ साल तो अधिकतम आयु ३२ साल होना अनिवार्य होता है, यहाँ पर पिछ्डे जाती/समुदाय के उम्मिद्वारो को ५ साल, अन्य पिछ्डे वर्ग के उम्मिद्वारो को ३ साल, सुरक्षा सेवा से जुडे उम्मिद्वार को ३ साल तथा शारीरिक विकलांग उम्मिद्वारो को ३ साल तक आयु सीमा मे भारतीय संविधान अनुसार छुट प्रदान की गई होती है।
- आवेदन इच्छुक उम्मिद्वार भारत का नागरिक होना अनिवार्य होता है।
- स्नातक की परीक्षा को मान्यताप्राप्त शिक्षा संस्थान/ युनिवर्सिटी से उत्तीर्ण किया होना अनिवार्य होता है।
उपरोक्त सभी मानदंडो को पुरा करने वाले उम्मिद्वार संघ लोक सेवा आयोग की सिविल सर्विस परीक्षा द्वारा उत्तीर्ण होकर भारतीय पुलिस सेवा मे शामिल हो सकते है, जिन्हे राज्य सरकार के पुलिस विभाग मे उप-पुलिस अधीक्षक पद पर कार्य करने का मौका मिल जाता है।
डी.एस.पी पद हेतू दी जानेवाली सैलरी – Salary of DSP Post
लगभग संपूर्ण भारत मे डी.एस.पी यानि उप-पुलिस अधीक्षक पद पर कार्य कर रहे अफसरो को प्रतिमाह लगभग ६०,००० रुपये सैलरी दी जाती है, जिसमे कुछ विशिष्ट राज्यो मे कुछ हद तक अंतर देखने को मिल सकता है।
डी.एस.पी पद के प्रमुख कार्य/कर्तव्य – Job Description of DSP
- पुलिस विभाग का महत्वपूर्ण पद होने के कारण, इस पद पर कार्य कर रहे अधिकारी व्यक्ती को समाज मे सुरक्षा, शांती, कानून और अनुशासन व्यवस्था को कायम रखने का प्रमुख दायित्व दिया हुआ रहता है, जिसका किसी भी हाल मे निर्वाहन करना अपेक्षाकृत होता है।
- अपराधिक गतीविधियो पर रोक लगाने के साथ बलपूर्वक अपराध को कम करने और नष्ट करने के अधिकार इस पद के लिए दिए गये होते है, इसलिए अपराध से संबंधित व्यक्ती/व्यक्तीयो/संस्था/समुदाय पर कानुनी अधिकार अनुसार कार्यवाही करने का प्रमुख कार्य डी.एस.पी अफसर करते है।
- अपराधिक मामलो की जाँच करना, आवश्यक सबूतों को जुटाना, अपराधियों को न्यायालय के समक्ष हाजिर करना इत्यादि कार्य भी डी.एस.पी स्तर के अधिकारी को करने होते है, जिस हेतू निम्न स्तर के अन्य पुलिस अधिकारी की सहायता भी ऐसे अधिकारी को समय समय पर प्राप्त हो जाती है।
- कुछ विशिष्ट स्थितियो मे अगर पुलिस अधीक्षक स्तर का अधिकारी व्यक्ती सेवा मे मौजूद ना हो या कुछ कारणो से छुट्टी पे हो तो इस स्थिती मे उप-पुलिस अधीक्षक स्तर के व्यक्ती पुलिस अधीक्षक के कर्तव्यो का पालन करना होता है।
- कुछ विशिष्ट स्थानिक स्तर के अपराधो पर रोक लगाने या उन्हे समुल नष्ट करने हेतू कुछ राज्यो मे विशिष्ट पुलिस बल का निर्माण करना होता है, जिसका नेतृत्व बहुत बार आय.पी.एस श्रेणी के उप-पुलिस अधीक्षक अधिकारी को दिया जाता है।
उपरोक्त सभी प्रमुख कर्तव्यो के साथ समाज मे महिला, छोटे बच्चे, बुजुर्ग, विकलांग आदि लोगो को पुलिस विभाग अंतर्गत सुरक्षा देने की पुलिस विभाग की कार्य प्रणाली का प्रबंधन और नियंत्रण भी डी.एस.पी स्तर के अफसर को करना होता है।
इस प्रकार से अबतक आपको हमने पुलिस विभाग के उच्च स्तर पद डी.एस.पी के बारे मे लगभग सभी प्रमुख पह्लूओ पर जानकारी दी, हमे आशा है ये जानकारी आपको काफी पसंद आई होगी इसे अन्य लोगो तक पहुचाने हेतू लेख को अवश्य साझा करे। हमसे जुडे रहने हेतू बहुत बहुत धन्यवाद..
डी.एस.पी पद के बारे मे अधिकतर बार पुछे जाने वाले सवाल – (Deputy superintendent of police) DSP Quiz Questions and Answers
जवाब: किसी भी शिक्षा धारा से न्यूनतम स्नातक/बैचलर डिग्री को उत्तीर्ण करना आवश्यक होता है।
जवाब: अपराध की रोकथाम करना, समाज मे अपराधिक और असामाजिक गतीविधियो पर नियंत्रण लगाकर इन्हे काबू मे लाना, अपराधिक और असामाजिक मामलो की जाँच पड़ताल करना, समाज मे कानून व्यवस्था कायम करना, सामाजिक सुरक्षा का प्रबंधन करना, अपराधिक मामलो मे दोषी व्यक्ती/व्यक्तियो/संस्था/ समुदाय इत्यादि पर कानून के अंतर्गत कारवाई करना इत्यादि।
जवाब: डिप्टी सुपरिंटेंडेंट ऑफ़ पुलिस।
जवाब: हाँ।
जवाब: हाँ।
जवाब: वर्ग १ अधिकारी।
Sir,
Please provide article on the topic “SBI BANK MANAGER KAISE BANE”
Thank you